मिस्वाक दाँतों की चौड़ाई में करना रबीआ बिन अकसम (र.अ.) फ़रमाते हैं के: “रसूलुल्लाह (ﷺ) दांतों की चौड़ाई में (यानी दाएँ से बाएँ और बाएँ से दाएँ) मिस्वाक फरमाते थे।” 📕 सुनने कुबरा लिल बैहकी: ४०/२
जिसकी बुनियाद शरीयत मे नही ऐसा काम दीन मे… हजरते आयेशा (रज़ीअल्लाहु अन्हा) से रिवायत है की, रसूलअल्लाह (ﷺ) ने फरमाया: “जिसने दीन मे कोई ऐसा काम किया जिसकी बुनियाद शरीअत में नहीं वो काम मरदूद है।” - (सुनन इब्न माजाह, हदीस 14) ✦ वजाहत: मसलन वो तमाम आमाल जिन्हे हम नेकी और सवाब की उम्मीद से करते है लेकिन…
मुसलमानों का मदीना हिजरत करना मक्का मुकरमा में मुसलमानों पर बेपनाह जुल्म व सितम हो रहा था, इस लिये रसूलल्लाह (ﷺ) ने दूसरी बैते अकबा के बाद मुसलमानों को मदीना जाने की इजाज़त दे दी। मुसलमानों में सबसे पहले अबू सलमा (र.अ) ने हिजरत का इरादा किया और सवारी तय्यार कर के सामान रखा और…
सजद-ए-तिलावत अदा करना हज़रत इब्ने उमर (र.अ) फ़र्माते हैं : “हुजूर (ﷺ) हमारे दर्मियान सजदे वाली सूरह की तिलावत फ़र्माते, तो सजदा करते और हम लोग भी सजदा करते, हत्ता के हम में से बाज़ आदमी को अपनी पेशानी रखने की जगह नहीं मिलती।” 📕 बुखारी: १७५, अन इब्ने उमर (र.अ) वजाहत: सजदे वाली आयत तिलावत…
मय्यित का कर्ज अदा करना हजरत अली (र.अ) फ़र्माते हैं के: रसुलअल्लाह (ﷺ) ने कर्ज को वसिय्यत से पहले अदा करवाया, हालाँकि तुम लोग (कुरआन पाक में) वसिय्यत का तजकेरा कर्ज से पहले पढ़ते हो। 📕 तिर्मिज़ी : २१२२ फायदा: अगर किसी शख्स ने कर्ज लिया और उसे अदा करने से पहले इन्तेकाल कर गया,…
इस्लाम का अध्ययन करना, बना सिस्टर जेनी… सिस्टर जेनी केम्प की हिदायत की हिदायत की दास्ताँ पहले मैं सोचती थी कि इस्लाम तो महिलाओं को चूल्हा-चौका करने और घर में कैद रहने के लिए मजबूर करता होगा लेकिन मैंने इसमें ऐसा नहीं पाया बल्कि ये तो अपने समय से ही दूसरों के प्रति उदार और सम्मानपूर्ण व्यवहार…
जबान और शर्मगाह की हिफाजत करना रसूलअल्लाह (ﷺ) ने फर्माया : "जो शख्स मुझे अपनी ज़बान और शर्मगाह की हिफाजत की जमानत दे दे मैं उसके लिये जन्नत की जमानत लेता हूँ।" 📕 बुखारी: ६४७४
नर्म मिज़ाजी इख्तियार करना लोगों के साथ नर्मी से पेश आने की फ़ज़ीलत रसूलुल्लाह (ﷺ) ने फरमाया : "क्या मैं तुम को ऐसे शख्स की खबर न दूँ जो दोजख के लिये हराम है और दोज़ख की आग उस पर हराम है? हर ऐसे शख्स पर जो तेज़ मिजाज न हो बल्के नर्म हो,…
वुजू में चमड़े के मोज़े पर मसह करना हज़रत अली (र.अ) फ़र्माते हैं : "मैं ने हुजूर (ﷺ) को मोज़े के ऊपर के हिस्से पर मसह करते देखा।" 📕 अबू दाऊद : १६२ नोट: जब किसी ने बावुजू चमड़े का मोज़ा पहेना हो, फिर वुजू टूट जाए, तो वुजू करते वक्त उन मोजों के ऊपरी हिस्से पर मसह…