हज़रत इस्हाक़ (अ.) की पैदाइश

हजरत इस्हाक़ (अ.) की विलादत बा सआदत अल्लाह तआला की एक बड़ी निशानी है, क्योंकि उन की पैदाइश ऐसे वक्त में हुई जब के उन के वालिद हजरत इब्राहीम (अ.) की उम्र 100 साल और उनकी वालिदा हजरत सारा की उमर 90 साल हो चुकी थी, हालाँके आम तौर पर इस उम्र में औलाद नहीं होती है। जब फरिश्तों ने उन की पैदाइश की खुशखबरी दी, तो दोनों हैरत व तअज्जुब में पड़ गए। मगर फरिश्तों ने यकीन दिलाया और कहा : आप नाउम्मीद मत हों। चुनान्चे अल्लाह तआला के हुक्म से इस्हाक़ पैदा हुए। उसी साल हजरत इब्राहीम व इस्माईल ने बैतुल्लाह की तामीर फ़र्माई थी। यह हज़रत इस्माईल से चौदा साल छोटे थे।

60 साल की उम्र में हज़रत इब्राहीम ने अपने भतीजे की लड़की से उन की शादी कराई, उन से दो लड़के पैदा हुए, एक का नाम ईसू और दूसरे का नाम याकूब था।

📕 इस्लामी तारीख