मौत के वक्त कलमा तय्यबा पढ़ने की फ़ज़ीलत : हदीस मौत के वक्त कलमा तय्यबा पढ़ने की फ़ज़ीलत ۞ हदीस: मुआद बिन जबल (र.अ.) से रिवायत है के, रसूलअल्लाह (ﷺ) ने फरमाया: "जिस नफ्स को भी इस हाल में मौत आए की वो इस बात की गवाही देता हो की अल्लाह के सिवा कोई माबूद नही और मैं (मुहम्मद सलअल्लाहू अलैही वसल्लम) अल्लाह का रसूल हूँ और ये गवाही दिल के यकीन से हो तो अल्लाह सुबहानहु उसकी मगफिरत फरमा देगा।" 📕 सुनन इब्न माजा, 3796 सुभान अल्लाह ! ۞ अल्लाह ताला हमे कहने सुनने से ज्यादा अमल की तौफ़ीक़ अता फरमाए। ۞ जबतक हमे ज़िंदा रखे इस्लाम और इमां…
कंजूसी करने का गुनाह कुरआन में अल्लाह तआला फर्माता है : "जो लोग अल्लाह तआला के अता करदा माल व दौलत को (खर्च करने में) बुख्ल (कंजूसी) करते हैं, वह बिल्कुल इस गुमान में ना रहें के (उनका यह बूख्ल करना) उनके लिये बेहतर है, बल्के वह उन के लिये बहुत बुरा है, कयामत के दिन उनके जमा करदा माल व दौलत को तौक बनाकर गले में पहना दिया जाएगा और आसमान व जमीन का मालिक अल्लाह तआला ही है और अल्लाह तआला तुम्हारे आमाल से बाखबर है।" 📕 सूरह आले इमरानः १८०
बोहतान / झूठा इलज़ाम लगाने का गुनाह और अज़ाब झूठी तोहमत लगाने का गुनाह कुरआन में अल्लाह तआला फर्माता है : “जो लोग मुसलमान मर्दो और मुसलमान औरतों को बगैर किसी जुर्म के तोहमत लगा कर तकलीफ पहुँचाते हैं, तो यक़ीनन वह लोग बड़े बोहतान और खुले गुनाह का बोझ उठाते हैं।” 📕 सूरह अहज़ाब : ५८ झूठा इलज़ाम लगाने का अज़ाब रसूलुल्लाह (ﷺ) ने फरमाया : "जिस ने किसी मोमिन के बारे में ऐसी बात कही जो उस में नहीं है, तो अल्लाह तआला उस को दोज़खियों के पीप में डाल देगा, यहाँ तक के उस की सजा पा कर उस से निकल जाए।" 📕 अबू दाऊद: ३५९७
Attahiyat in Hindi | अत्तहिय्यात (तशहहुद) Attahiyat in Hindi | तशहुद (अत्तहियात) : अत्तहिय्यातु लिल्लाहि वस्सलवातु वत्तय्यिबातु अस्सलामु अल-क अय्युहन-नबिय्यु वरमतुल्लाहि व ब-र-कातुह ...
नेकी और परहेज़गारी के कामों में एक दूसरे की मदद किया करो क़ुरआन में अल्लाह तआला फर्माता है : “नेकी और परहेज़गारी के कामों में एक दूसरे की मदद किया करो गुनाह और ज़ुल्म व ज़ियादती में किसी की मदद न करो और अल्लाह से डरते रहो. बेशक अल्लाह तआला का अज़ाब बहुत सख्त है।” 📕 सूर माइदा 5:2
किसी के वालिदैन को बुरा भला कहने का गुनाह रसूलुल्लाह (ﷺ) फरमाते है : "(शिर्क के बाद) कबीरा गुनाहों में सबसे बड़ा गुनाह यह है के आदमी अपने वालिदैन पर लानत करें" पूछा गया : ऐ अल्लाह के रसूल! आदमी अपने वालिदैन पर कैसे लानत करेगा? इर्शाद फ़रमाया : “वह दूसरे के वालिदैन को बुरा भला कहे फिर वह आदमी उस के वालिदैन को बुरा भला कहे।” 📕 बुखारी : ५९७३
हमेशा सच बोलो क्योंकि सच नेकी का रास्ता बताता है रसूलुल्लाह (ﷺ) ने फर्माया: "हमेशा सच बोलो क्योंकि सच नेकी का रास्ता बताता है और सच और नेकी जन्नत में दाखिल करने वाले हैं। तुम झूट से बचो क्योंकि वह गुनाह का रास्ता बताता है और झूट और गुनाह जहन्नम में दाखिल करने वाले हैं।" 📕 तबरानी कबीर :१६२५१, अन मुआविया बिन अबी सुफियान (र.अ)
अल्लाह से सच्ची पक्की तौबा कर लो कुरआन में अल्लाह तआला फ़र्माता है: "ऐ ईमान वालो ! अल्लाह से सच्ची पक्की तौबा कर लो, उम्मीद है के तुम्हारा रब तुम्हारी खताओं को माफ कर देगा और जन्नत में दाखिल कर देगा।" 📕 सूरह तहरीम: ८
अक्लमंद लोग क़ुरआन से नसीहत हासिल करे अक्लमंद लोग क़ुरआन से नसीहत हासिल करे कुरआन में अल्लाह तआला फर्माता है: "यह ( कुरआन ) एक बाबरकत किताब है, जिस को हम ने आप पर इस लिये नाजिल किया है के लोग उस की आयतों में गौर व फिक्र करें और अक्लमंद लोग उस से नसीहत हासिल करे। 📕 सूरह साद : २९
इल्मे दीन को छुपाने का गुनाह रसूलुल्लाह (ﷺ) ने फ़रमाया : "जिसने इल्म को छुपाया, क़यामत के दिन उस को आग की लगाम पहनाई जाएगी।" 📕 तबरानी कबीर: १०६८९, अन इब्ने अब्बास रज़ि०
कुरआन का मजाक उड़ाने का गुनाह कुरआन में अल्लाह तआला फ़र्माता है: "जब इन्सान के सामने हमारी आयतें पढ़ी जाती हैं, तो कहता है के यह पहले लोगों के किस्से कहानियां हैं। हरगिज़ नहीं! बल्के उन के बुरे कामों के सबब उन के दिलों पर जंग लग गया है।" 📕 सूरह मुतफ्फिफीन: १३ ता १४
शिर्क और कत्ल करने का गुनाह रसूलुल्लाह (ﷺ) ने फ़रमाया: "अल्लाह तआला हर गुनाह को माफ कर सकता है, मगर उस आदमी को माफ नहीं करेगा, जो शिर्क की हालत में मर जाए, दूसरा वह आदमी जो किसी (बेगुनाह) मुसलमान भाई को जानबूझ कर क़त्ल कर दे।" 📕 अबू दाऊद: ४२७०
MD. Salim Shaikh
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