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8 Muharram | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

इस्लामी तारीख: हजरत शीस (अ.), हुजूर (ﷺ) का मुअजीजा: बैतुल मुक़द्दिस के बारे में खबर, एक सुन्नत: तक्बीरे तहरीमा के बाद दुआ, एक अहेम अमल: आशूरा का रोज़ा …

3. जिल हिज्जा | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

सीरत – इमाम बुखारी (रहमतुल्लाहि अलैहि), अल्लाह की कुदरत – हीरा और कोयला, एक फर्ज – शौहर के भाइयों से पर्दा करना, जमीन नाहक लेने का अज़ाब, सब से ज़ियादा खौफ़ की चीज़ …

23 Rabi-ul-Awal | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

तारीख: रसूलुल्लाह (ﷺ) की मुबारक पैदाइश, अल्लाह की कुदरत : अबाबील परिन्दा, वालिदैन के साथ अच्छा बर्ताव करना, खुशी के वक्त सज्द-ए-शुक्र अदा करना, मुतल्लका / बेवा बेटी की कफालत की फजीलत …

13 Rabi-ul-Awal | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

तारीख: याजूज माजूज, अल्लाह की कुदरत : होंठ , वारिसीन के दर्मियान मीरास तक़सीम करना, तक़लीफ पर सब्र करना, बिला शरई उज्र के शौहर से तलाक़ मांगने का गुनाह …

12 Rabi-ul-Awal | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

तारीख: असहाबुल जन्नह (बाग़ वाले), जहन्नम के अज़ाब से बचने की दुआ, आँखों की बीनाई चले जाने पर सब्र करना, आँखों की बीनाई चले जाने पर सब्र करना, कम अज़ाब वाला दोज़खी …

11 Rabi-ul-Awal | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

तारीख: क़ौमे सबा, अल्लाह की कुदरत: जानदारों के जिस्म में जोड़, फर्ज: बाजमात इंशा और फज्र की नमाज़ पढ़ना, सुन्नत: खाने में ऐब न लगाना, अपने अज़ीज़ की वफात पर सब्र करना …

10 Rabi-ul-Awal | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

तारीख: असहाबुल क़रिया (बस्ती वाले), हुजूर (ﷺ) का मुअजिज़ा: जौ में बरकत, फर्ज: सज्द-ए-तिलावत अदा करना, सुन्नत: औलाद के लिये दुआ करना, दीन के खिलाफ साज़िश करने का गुनाह …

9 Rabi-ul-Awal | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

तारीख: हज़रत ईसा (अ.स) का आसमान से उतरना, अल्लाह की कुदरत: ज़मीन की कशिश, फर्ज: वालिदैन के साथ एहसान का मामला करना, सुन्नत: हर अच्छे कामों को दाहनी तरफ से करना, मोमिनीन के लिये मग़फिरत मांगने की फ़ज़ीलत …

6 Muharram | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

तारीख: हज़रत आदम (अ.स) का दुनिया में आना, मुअजिजा : चाँद के दो टुकड़े होना, एक सुन्नत: मेजबान को दुआ देना, अहेम अमल : माहे मुहर्रम में रोजा रखना, यतीमों का माल खाने का गुनाह …

5 Muharram | सिर्फ़ 5 मिनट का मदरसा

तारीख: हज़रत आदम (अ.स), अल्लाह की कुदरत : ज़मीन और उस की पैदावार, सुबह की नमाज़ अदा करने पर हिफाजत का जिम्मा, एक सुन्नत: पूरे सर का मसह करना, अहेम अमल : इस्लाम में बेहतर आमाल, गुनाह की वजह से रिज़्क से महरूमी …