पाक दामन औरतों पर तोहमत लगाने का गुनाह क़ुरान में अल्लाह तआला फ़रमाता है - "जो लोग पाक दामन औरतों पर (ज़िना की) तोहमत लगाते हैं, फिर अपने दावे पर चार गवाह न ला सकें, तो ऐसे लोगों को अस्सी कोड़े लगाओ और आइन्दा कभी उन की गवाही कबूल न करो और यह लोग (सख्त) गुनहगार हैं, मगर…
मर्द व औरत का एक दूसरे की नकल करने का गुनाह रसूलुल्लाह (ﷺ) ने ऐसी औरत पर लानत फर्माई जो मर्द की नक्ल इख्तियार करती हैं और ऐसे मर्द पर लानत फ़रमाई जो औरतों की मुशाबहत इख्तियार करता है। 📕 इब्ने माजा : १९०२ खुलासा: मर्द का औरतों की शक्ल व सूरत इख्तियार करना और औरत का मर्दो की शक्ल इख्तियार…
मस्जिद में दुनिया की बातें करने का गुनाह रसूलुल्लाह (ﷺ) ने फर्माया: “एक जमाना ऐसा आएगा के लोग मस्जिद में हलके लगाकर दुनियावी बातें करेंगे, तुमको चाहिये के उन लोगों के पास बिल्कुल न बैठो, अल्लाह को उन लोगों से कोई वास्ता नहीं।" 📕 मुस्तदरक : ७९१६
औरतों को उनके मेहर खुश दिली से दिया करो कुरआन में अल्लाह तआला फर्माता है : “तुम औरतों को उनके मेहर खुश दिली से अदा कर दिया करो। हाँ अगर वह औरतें अपनी खुशी से उस महेर में से कुछ तुम्हारे लिए छोड़ दें तो उसको लज़ीज और खुशगवार समझ कर खा लिया करो।” 📕 सूरह निसा ४
खुश्बू को रद्द नहीं करना चाहिये रसूलल्लाह (ﷺ) को जब खुशबु का हदिया दिया जाता, तो आप (ﷺ) उस को रद्द नहीं फ़रमाते थे। 📕 तिर्मिजी : २७८९
बोहतान / झूठा इलज़ाम लगाने का गुनाह और अज़ाब झूठी तोहमत लगाने का गुनाह कुरआन में अल्लाह तआला फर्माता है : “जो लोग मुसलमान मर्दो और मुसलमान औरतों को बगैर किसी जुर्म के तोहमत लगा कर तकलीफ पहुँचाते हैं, तो यक़ीनन वह लोग बड़े बोहतान और खुले गुनाह का बोझ उठाते हैं।” 📕 सूरह अहज़ाब : ५८ झूठा इलज़ाम लगाने का…
इत्र लगाना हजरते आयशा (र.अ) से मालूम किया गया के रसूलुल्लाह इत्र लगाया करते थे? उन्होंने फ़रमाया : “हाँ मुश्क वगैरह की उम्दा खुशबु लगाया करते थे।” 📕 निसाई: ५११९