माल की मुहब्बत खुदा की नाशुक्री का सबब है

कुरआन में अल्लाह तआला फ़र्माता है:

“इन्सान अपने रब का बड़ा ही नाशुक्रा है, हालाँ के उसको भी इस की खबर है (और वह ऐसा मामला इस लिये करता है) के उस को माल की मुहब्बत ज़ियादा है।”

📕 सूरह आदियात: ६ ता ८